नई दिल्ली: सेंटर फॉर एक्सीलेंस स्वास्थ्य उद्योग के साथ साझेदारी में दक्षता केंद्र स्थापित करने की दिशा में शोध की भी सुविधा देगा। समझौता पत्र पर एचएसएससी के सीईओ आशीष जैन और सीडैक मोहाली की ओर से इसके कार्यकारी निदेशक डॉ. पीके खोसला ने हस्ताक्षर किए। भारत में स्मार्ट हेल्थकेयर वर्कफोर्स (Smart Healthcare Workforce) के विकास की दिशा में काम करने के इरादे से हेल्थकेयर सेक्टर स्किल काउंसिल और सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ एडवांस्ड कंप्यूटिंग (सीडैक) ने सेंटर फॉर एक्सीलेंस (सीओई) स्थापित करने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए। यह उभरती टेक्नोलॉजी में स्वास्थ्य कर्मियों के लिए विशेष प्रशिक्षण कार्यक्रम विकसित करने और इससे स्मार्ट टेक्नोलॉजी के लिए स्मार्ट हेल्थकेयर श्रमबल तैयार करने में मदद मिलेगी।

एचएसएससी के सीईओ आशीष जैन ने बताया कि सीओई स्वास्थ्य सेक्टर से जुड़े डिजिटल स्वास्थ्य, कृत्रिम बुद्धिमता, स्वास्थ्य तकनीक, 3डी प्रिंटिंग (3D Printing), साइबर सुरक्षा (Cyber ​​Security) और अन्य टेक्नोलॉजी (Technology) के क्षेत्र में स्वास्थ्य उत्पादों समाधानों के इस्तेमाल के लिए दक्षता विकास दक्षता कार्यक्रमों एवं स्वास्थ्य सेवा के प्रोफेशनल्स के प्रशिक्षण को विकसित करेगा। यह उल्लेखनीय पहल आवश्यक दक्षता जरूरतों के अधिग्रहण के बाद टेक्नोलॉजी से तालमेल बनाने के लिए शोधकर्ताओं और स्वास्थ्य सेवा प्रोफेशनल्स की सक्रिय भागीदारी के जरिये कृत्रिम बुद्धिमत्ता और स्वास्थ्य टेक्नोलॉजी में शोध एवं विकास को प्रोत्साहित करने के लिए शुरू की गई है।

सी डैक मोहाली के कार्यकारी निदेशक डॉ. पीके खोसला (Director Dr. PK Khosla) ने बताया, सीडैक देश के लिए टेक्नोलॉजी (Technology) समाधान शुरू करने में अहम भूमिका निभाती आ रही है। स्वास्थ्य सेवा के क्षेत्र में यह एमओयू टेक्नोलॉजिस्ट और स्वास्थ्य सेवा के बीच अंतर को कम करने में मदद करेगा और टेक्नोलॉजी का लाभ उठाते हुए कुछ महत्वपूर्ण समस्याओं का समाधान करने में मदद करेगा। एमओयू पर इलेक्ट्रॉनिक्स (Electronics) एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (Ministry of Information Technology) के निदेशक अनिल पीपल, गवर्निंग काउंसिल सदस्य डॉ. शबनम सिंह, एचएसएससी और सीडैक एवं एचएसएससी के कई अन्य अधिकारियों की उपस्थिति में हस्ताक्षर किए गए।

हेल्थकेयर सेक्टर स्किल काउंसिल के चेयरमैन डॉ.नरेश त्रेहन (Chairman Dr. Naresh Trehan) ने अपने संदेश में कहा, टेक्नोलॉजी (Technology) की भूमिका बेहतर स्वास्थ्य सेवाएं देने के लिए गेम चेंजर के रूप में तेजी से बढ़ती जा रही है। स्वास्थ्य कर्मियों को नई उभरती टेक्नोलॉजी का प्रशिक्षण देने की जरूरत महसूस करते हुए एचएसएससी एकेडमिक कमेटी के तहत फ्यूचर स्किल्स इन हेल्थ टेक एक विशेष समिति बनाई गई है। मैं अपेक्षा करता हूं कि एचएसएससी और सी डैक् के बीच यह साझेदारी नई टेक्नोलॉजी में स्वास्थ्य कर्मियों को तैयार करने के लिए उद्योग से जुड़े कोर्स को समृद्ध बनाएगी।

एचएसएससी एकेडमिक कमेटी के चेयरमैन डॉ. देवी शेट्टी (Chairman Dr. Devi Shetty) बताते हैं, कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) टेक्नोलॉजी (Technology) देश में दी जा रही स्वास्थ्य सेवाओं में एक अपरिहार्य और अनिवार्य बदलाव का अगुआ बनेगी। स्वास्थ्य सेवा के क्षेत्र में एआई की सबसे बड़ी चुनौती न सिर्फ यह है कि इसे उपयोगी बनाना होगा, बल्कि प्रतिदिन की क्लिनिकल प्रैक्टिस में भी इसे सरल तरीके से अपनाने की भी चुनौती होगी। यह साझेदारी हमारे स्वास्थ्य कर्मियों को टेक्नोलॉजी समझने और इसके विकास में भागीदारी तथा अपनाने की प्रक्रिया के लिए तैयार करने की दिशा में पहला कदम है। इससे उनकी दक्षता बढ़ाते हुए न सिर्फ उन्हें भविष्य के लिए तैयार किया जा सकेगा, बल्कि भविष्योन्मुखी टेक्नोलॉजी अपनाने के लिए संपूर्ण परिवेश को भी मदद मिलेगी।

By VASHISHTHA VANI

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